दुष्कर्म के आरोपों का सामना कर रहे भाजपा के मंडल अध्यक्ष ने पीड़िता और उसके परिवार को गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दी थी, जिससे पीड़िता और उसका परिवार अब भी खुद को असुरक्षित महसूस कर रहा है।
सल्ट क्षेत्र में दुष्कर्म के आरोपों का सामना कर रहे भाजपा के मंडल अध्यक्ष भगवत बोरा ने पीड़िता और उसके परिवार को गंभीर परिणाम भुगतने की धमकी दी थी, जिससे पीड़िता और उसका परिवार अब भी असुरक्षित महसूस कर रहा है। घटना को 10 दिन बीत जाने के बाद भी पीड़िता और उसके परिवार को न्याय मिलने की कोई उम्मीद नहीं दिख रही है। प्रशासन के हर दरवाजे पर दस्तक देने के बावजूद निराश पीड़िता की मां ने न्याय की गुहार लगाई है।
महिला का आरोप है कि दो दिन पहले दूसरी शिकायत देने के बावजूद मुकदमे में सही धाराएं अभी तक नहीं जोड़ी गई हैं। उन्होंने बताया कि आरोपी के खिलाफ फिलहाल बीएनएस की धारा 74 और पॉक्सो अधिनियम की धारा 7/8 के तहत मामला दर्ज किया गया है, जबकि उन्होंने पॉक्सो अधिनियम की धारा 3/4 के तहत शिकायत दी थी। महिला ने पुलिस पर आरोप लगाया कि वे आरोपी को बचाने का प्रयास कर रही है। इसी कारण पीड़िता का दोबारा मेडिकल करवाकर समय बर्बाद किया जा रहा है और उचित धाराओं के तहत मामला दर्ज नहीं किया जा रहा है।
यह भी आरोप लगाया गया है कि आरोपी पक्ष की ओर से उन्हें धमकाया जा रहा है। न्याय की आस में दर-दर भटक रही पीड़िता की मां ने बताया कि 24 अगस्त को भाजपा मंडल अध्यक्ष ने उनकी बेटी के साथ दुष्कर्म किया था। जब उन्हें इस घटना की जानकारी मिली और उन्होंने रिपोर्ट दर्ज कराने की कोशिश की, तो भाजपा नेता ने उन्हें फोन पर धमकी दी। नेता ने कहा कि वह मंत्रियों और विधायकों के करीबी हैं, और अगर उन्होंने इस घटना का जिक्र कहीं भी किया, तो उन्हें गंभीर परिणाम भुगतने होंगे।
महिला ने बताया कि वह परिवार की सुरक्षा को लेकर डर रही थी कि कहीं उन्हें कोई नुकसान न पहुंचा दिया जाए। उन्होंने आरोप लगाया कि वे बार-बार दुष्कर्म की शिकायत दर्ज कराने के लिए संघर्ष कर रहे हैं, लेकिन अभी तक मामला हल्की धाराओं में ही दर्ज हुआ है। बेटी का दो दिन पहले मेडिकल हुआ था, लेकिन रिपोर्ट की कोई जानकारी नहीं दी गई है। महिला ने मुख्यमंत्री से न्याय की अपील की है और कहा है कि अगर उन्हें न्याय नहीं मिला, तो वे उच्च न्यायालय का दरवाजा भी खटखटाएंगी।
स्कूल गई पीड़िता की हालत बिगड़ी, अस्पताल में कराया भर्ती
सल्ट के चर्चित मामले की पीड़िता किशोरी बुधवार को कई दिनों बाद स्कूल गई, लेकिन वह बीच में ही लौट आई। स्कूल ने किशोरी के पेट में तेज दर्द होने की सूचना दी, जिसके बाद उसके पिता उसे घर ले आए। शाम को तबीयत में सुधार न होने पर, उसे 108 एंबुलेंस की मदद से सामुदायिक केंद्र देवायल में भर्ती कराया गया। अस्पताल के प्रभारी चिकित्सा अधिकारी डॉ. अक्षय जरवाल ने बताया कि किशोरी को पेट दर्द, उल्टी और बुखार की शिकायत के साथ अस्पताल लाया गया था। उसे प्राथमिक उपचार देने के बाद भर्ती कर लिया गया है और उसकी सेहत पर निरंतर निगरानी रखी जा रही है।
कोर्ट में दर्ज कराए गए बयान